रुद्रप्रयाग जिले के कई गांवों में हॉर्स फ्लू

देहरादून। रुद्रप्रयाग जिले के कई गांवों में घोड़ा-खच्चर के गंभीर श्वसन रोग इक्वाइन इन्फ्लूएंजा यानि हॉर्स फ्लू से प्रभावित हुए हैं, जिसके चलते केदारनाथ यात्रा के लिए घोड़ा-खच्चरों के पंजीकरण शिविर, अगले दस दिनों के लिए स्थगित कर दिए गए हैं। साथ ही, जिले में घोड़ा-खच्चरों के आवागमन पर पूर्ण रूप से प्रतिबंध लगा दिया गया है।
घोड़ा-खच्चरों में यह रोग बसुकेदार उप तहसील के बीरों, बष्टी, जलई और मद्महेश्वर घाटी के मनसूना गांवों में फैल चुका है, जहां पशु तेज बुखार, नाक से स्राव, खांसी, और शरीर पर दानों से पीड़ित हैं। इन गांवों में 16 घोड़ा-खच्चरों में हॉर्स फ्लू के लक्षण पाए गए हैं। पशुपालन विभाग ने चिकित्सक दल को भेजकर इनका उपचार किया है और रक्त सैंपल राष्ट्रीय अश्व अनुसंसाधन संस्थान, हिसार, हरियाणा भेजे गए हैं।
पशु चिकित्सकों के अनुसार, यह संक्रमण सांस के जरिए फैलता है, इसलिए पूरे जिले में घोड़ा-खच्चरों के आवागमन पर रोक लगाई गई है। यदि कोई पशुपालक इस नियम का उल्लंघन करता है, तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। गौरतलब है कि हॉर्स फ्लू से पीड़ित घोड़ा-खच्चर 20 से 25 दिनों में स्वस्थ हो जाते हैं, लेकिन कभी-कभी संक्रमण का प्रभाव अधिक समय तक रहता है।